भारत के विदेश मंत्री S. Jaishankar ने शुक्रवार को ‘कार्नेगी ग्लोबल टेक समिट 2025′ में विश्व में हो रहे तकनीकी और भू-राजनीतिक बदलावों पर अपने विचार व्यक्त किए। उन्होंने कहा कि पिछले एक साल में अमेरिका के वैश्विक दृष्टिकोण में बड़ा बदलाव आया है, जिसका असर खासतौर पर तकनीकी क्षेत्र में गहराई से देखा जा सकता है।
‘MAGA’ और तकनीकी संबंध पर जताई राय
S. Jaishankar ने कहा कि अब अमेरिका में डोनाल्ड ट्रंप के ‘MAGA’ (Make America Great Again) एजेंडे और तकनीकी क्षेत्र के बीच सीधा संबंध दिखाई देता है। उन्होंने कहा, “तकनीकी अब केवल अमेरिका की ताकत नहीं है, बल्कि इसका वैश्विक प्रगति में भी महत्वपूर्ण योगदान है। पहले यह स्पष्ट नहीं था, अब यह पूरी तरह से स्पष्ट हो गया है।”
#WATCH | Speaking at the Carnegie India Global Technology Summit, EAM Dr S Jaishankar says, "Our experiences (with respect to US-China relations) are very different. We've actually seen both extremes. For the first few decades after independence- there was very sharp contestation… pic.twitter.com/cXR6nAUYUb
— ANI (@ANI) April 11, 2025
चीन की प्रगति और यूरोप की बदलती स्थिति पर विचार
जयशंकर ने कहा कि अमेरिका के अलावा चीन ने भी पिछले एक साल में steady प्रगति की है, जो अचानक नहीं बल्कि धीरे-धीरे आई है। साथ ही, उन्होंने यूरोप की स्थिति पर भी अपने विचार साझा किए। जयशंकर ने कहा कि पांच साल पहले यूरोप का अमेरिका, रूस और चीन के साथ संतुलित संबंध था, लेकिन अब यह त्रिकोणीय संतुलन दबाव में है और हर दिशा से दबाव महसूस हो रहा है।
‘T’ शब्दों पर दिया जोर: तकनीकी और टैरिफ
जयशंकर ने मजाक करते हुए कहा कि इस सम्मेलन में लोग एक खास ‘T’ शब्द यानी तकनीकी पर चर्चा करने आए हैं, लेकिन अब एक और ‘T’ शब्द भी महत्वपूर्ण हो गया है, ‘टैरिफ’। उन्होंने कहा, “आज हम यहां एक और महत्वपूर्ण ‘T’ शब्द पर चर्चा करने आए हैं, जो बदलते वैश्विक परिप्रेक्ष्य में जरूरी है। तकनीकी और टैरिफ के बीच गहरा संबंध है, जिसे समझना महत्वपूर्ण है।”
