Satna : Aks यूनिवर्सिटी में अंतर्राष्ट्रीय बालिका दिवस पर ध्येयपूर्ण कार्यक्रम सम्पन्न
सतना।।वसुंधरा महिला मण्डल , सतना म. प्र.,गर्ल्स काउंट ,नई दिल्ली, एकेएस.यूनिवर्सिटी ,सतना के संयुक्त तत्वावधान में लिंग चयन आधारित असमानता और बालिकाओं के साथ अन्यायों विभिन्न संस्कृतियों व समाज़ों में लड़कियों के साथ होने वाले भेदभावों पर प्रकाश डालते हुये उन्हें सशक्त बनाने के उद्देश्य से -11अक्टू.को वृहद कार्यक्रम का आयोजन किया गया।
image credit by social media
अन्तर्राष्ट्रीय बालिका दिवस का शुभारंभ मुख्य अतिथि डा.एल . के.तिवारी, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी , सतना ,कार्यक्रम अध्यक्ष डा.हर्षवर्धन श्रीवास्तव विशिष्ट अतिथि डा.भूमिका जगवानी ,नोडल अधिकारी , ज़िला पी.सी.एण्ड पी.एन.डी. टी.,सतना सौरव सिंह ,ज़िला महिला एवं बाल विकास विभाग , सतना द्वारा स्थानीय शासकीयअशासकीय महाविद्यालयों के प्राध्यापकगण एवं लगभग 700 छात्र-छात्राओं की गरिमामयी उपस्थिति में मां सरस्वती की प्रतिमा के समक्ष दीप प्रज्वलन व माल्यार्पण कर किया गया.
अवसर पर स्रोत व्यक्ति व विषय विशेषज्ञ रिज़वान परवेज़,डायरेक्टर गर्ल्स काउन्ट, नयी दिल्ली ने कार्यक्रम की प्रासंगिकता ,महत्व एवं उद्देश्य को रेखांकित करते हुए कहा कि बालक -बालिका के बीच व्याप्त भेदभाव को मिटाकर समानता तभी लायी जा सकती है जब हमारी महिलाओं के प्रति सामाजिक रूढ़िवादिता,संकीर्ण मानसिकता एवं अनेक प्रकार के शोषण को दृढ़ इच्छाशक्ति के साथ ख़त्म कर दिया जाएगा l स्रोत व्यक्ति एवं विशिष्ट व्यक्ति सौरभ सिंह ने सतना जिले में बालिका पोषण व स्वास्थ्य ,बालक -बालिका जन्म -दर ,बालिका शिक्षा एवं कौशल आदि के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि -“बालिका दिवस को मानने की यथार्थता तभी होगी जब हम सभी सामाजिक रूप से बेटियों की मनः स्थिति को सही अर्थों में समझने लगेंगे तथा बेटियों के विकास ,कौशल व बढ़ने के अवसर दया के भाव पर नहीं बल्कि उनके जीवन जीने के अधिकार के नज़रिए से स्वीकार कर उनका क्रियान्वयन करने लगेंगे l
“विषय विशेषज्ञ डॉ. एल.के .तिवारी, सी.एम.एच. ओ.,सतना ने अपने उद्बोधन में कहा कि -” सतना जिले में पी.सी.पी.एन.डी.टी.एक्ट के क्रियान्वयन ,शिशु लिंगानुपात ,शिशु जन्म दर ,बालिका पोषण व स्वास्थ्य आदि पर जानकारी देते हुए कहा कि बालिकाओं के जन्म ,उनके जीने का अधिकार देने हेतु सामाजिक रूप से स्वस्थ मानसिकता व विचारधारा का होना नितान्त आवश्यक है lडा.हर्षवर्धन ने कहा कि -समग्र रूप से बालिकाओं के कल्याणार्थ ऐसे रचनात्मक कार्यक्रम मात्र एक दिवस ही नहीं अपितु विधिवत् कार्ययोजना निर्धारित कर सतत रूप से चलाया जाना चाहिए ताकि उनको सही अर्थों में सफ़लता की मंज़िल पर समुचित हक़ मिल सके l मौके पर सामाजिक ,स्वास्थ्य ,बालिका जन्म दर ,बालिका पोषण व स्वास्थ्य, शिक्षा,कला कौशल उन्नयन आदि के क्षेत्र में उल्लेखनीय व उत्कृष्ट कार्य करने वाले विशिष्ट महिलाओं क्रमश: सी.डब्ल्यू.सी.की अध्यक्ष राधा मिश्रा, डॉ. क्रान्ति मिश्रा, रेखा विश्वकर्मा, प्रियंका पांडेय आंगनवाड़ी कार्यकर्ता, निराशा बुनकर आशा कार्यकर्ता, अस्मी भारती, तुलसी त्रिपाठी, पूनम अग्निहोत्री को आयोजक संस्था द्वारा “गरिमा सम्मान” प्रदान किया गया l
सुकृति सोनी के मनमोहक नृत्य ने उपस्थित सभी जन को तालियां बजाने के लिए मजबूर कर दिया और उनके नृत्य ने ऐसा समां बांधा की सभी मुग्ध हो गए। स्थानीय महाविद्यालयों के छात्र -छात्राओं ने गीत ,कविता, कराते, नाटिका सामाजिक व योगा नाटिका ,भाषण व नृत्य के माध्यम से अपने -अपने हुनर कला -कौशल व प्रतिभा का परिचय दिया। जिन्हें “सहभागिता प्रमाण पत्र “प्रदान कर सम्मानित करते हुए उनका उत्साहवर्धन किया गया l वसुंधरा महिला मंडल की अध्यक्षा ख्याति पाण्डेय द्वाराआभार प्रदर्शन किया गया। इस अवसर पर डॉ. सुधीर जैन, डॉ.एल.एन.शर्मा,दीपक मिश्रा, माया सोनी, सोनम विश्वकर्मा, स्वाती शुक्ला, पीयूष सेन, शिवा सिंह सेंगर, देव त्रिवेदी, हेमंत मिश्रा, लालेंद्र, सुप्रिया गुप्ता आदि उपस्थित रहे। तथा कार्यक्रम का सफल संचालन शिखा त्रिपाठी एवं आयुष द्विवेदी ने किया।