Ayodhya ram mandir

  • चर्चा में अयोध्या :पहली ही बारिश में अयोध्या के विकास की खुली पोल

    अयोध्या, उत्तरप्रदेश।। अयोध्या में बना भगवान राम का मंदिर इन दिनों खूब चर्चा में बना हुआ है. लोकसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी को मिली फैजाबाद लोकसभा सीट से हार के बाद अयोध्या खूब सुर्खियां बटोर रहा था. इसी क्रम में एक बार फिर अयोध्या सुर्खियों में है परंतु इस बार कारण ना तो किसी की जीत का है और ना ही किसी की हार का है. इस बार कारण है अयोध्या का विकास.

    अयोध्या

    जी बिल्कुल सरकार ने अयोध्या का विकास इतनी शानदार तरीके से किया की पहली ही बारिश में 844 करोड़ की लागत से बने 13 किलोमीटर के राम पथ पर 13 गड्ढे हो गए. अयोध्या में बनी इन सड़कों का निर्माण जितनी तेजी से हुआ उतनी ही तेजी से उनमें दरारें भी देखने को मिली. इसके बाद से ही लगातार लोंग सरकार पर सवाल उठा रहे हैं. हालांकि उत्तर प्रदेश सरकार ने इस पर एक्शन लेते हुए पीडब्ल्यूडी के तीन अधिकारियों को सस्पेंड कर दिया है. आपको बता दें जब अयोध्या में निर्माण कार्य चल रहे थे तो सबका जायजा लेने स्वयं प्रदेश के मुखिया योगी आदित्यनाथ आते थे.

    सूत्रों से मिली खबर के अनुसार अयोध्या में बना भगवान राम का भाव मंदिर भी पहली बारिश नहीं सह सका. बारिश होते ही मंदिर की छत चूने लगी.मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम को बड़ा भव्य बनाया गया था जिसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत देश के तमाम दिग्गज मौजूद थे. हालांकि मंदिर का कार्य पूर्ण नहीं हुआ था समय से पहले ही उसकी प्राण प्रतिष्ठा कर दी गई थी, जिसका विरोध भारत के जगत गुरु शंकराचार्यों ने भी किया था.

    बता दे, लोकसभा चुनाव में फैजाबाद में मिली बीजेपी को हार के बाद से लोंग अयोध्या को सोशल मीडिया पर लगातार ट्रोल कर रहे थे. परंतु अब जाकर उस हार का असली कारण पता लगा है.

    अयोध्या की हालत देखने के बाद अब सवाल यह उठ रहे हैं कि जब पहली बारिश में यह हाल है तो जब बरसात का मौसम आएगा तब अयोध्या का क्या हाल होगा? साथ ही सवाल यह भी है की भारतीय जनता पार्टी जिन भगवान राम और अयोध्या के नाम पर राजनीति करती है जिनके नाम पर वोट प्राप्त करती है?क्या उसे वहां हुए भ्रष्टाचार के बारे में पता नहीं लगा?

    इन सवालों का जवाब तो गहरी जांच पड़ताल के बाद ही मिलेगा. फिलहाल तो अयोध्या का विकास भ्रष्टाचार के हत्थे चढ़ गया है. अब देखना यह होगा कि सरकार अयोध्या के विकास को भ्रष्टाचार से मुक्त कैसे कराती है?

  • भटनवारा गांव में निकाली गई भव्य शोभा यात्रा,श्री राम के जयकारों से गूंज उठा पूरा गांव

    सतना,मध्यप्रदेश।। अयोध्या में भगवान श्रीराम लला की प्राण प्रतिष्ठा महोत्सव एवं रामोत्सव को लेकर पूरा भटनवारा गांव भक्ति रस में डूब गया है। शहर से लेकर गांव तक चहुंओर श्रीराम की भक्ति का वातावरण नजर आ रहा है।गांव की गलियों को झंडा लगाकर आकर्षक ढंग से सजाया गया।

    फ़ोटो – सतना टाइम्स डॉट इन

    ग्रामीणों द्वारा भटनवारा गांव मे एक दिवसीय भजन संध्या एवं श्री राम कथा का आयोजन किया गया। श्री राम कथा में श्री राम विजय रथ में भव्य शोभा यात्रा निकाली गई। श्रीराम कथा एवं भजन संध्या श्रीधाम वृंदावन वाले कथा व्यास राहुल कृष्ण जी महाराज श्रद्धालुओं को कथा का रसपान करवा रहे है।

    गांव में निकाली गई बाइक रैली, देखे वीडियो

    https://www.instagram.com/reel/C2ZTRVxrFeL/?igsh=dG1sam5haGJuODBy

    उन्होंने कहा कि श्रीराम की लीलाओं का जो वर्णन तुलसीदास ने किया है। कथावाचक ने कहा कि श्रीराम कथा भगवान श्रीराम के आदर्श पथ पर चलने की प्रेरणा देती है। भगवान राम का चरित्र जहां एक ओर पारिवारिक रिश्तों की अहमियत को दर्शाता है, वहीं दूसरी ओर जाति-पाती के भेदभाव को मिटाकर मानव मात्र में सौहार्द की भावना जगाता है।ग्रामीणों ने कहा कि अयोध्या में बनने वाले भगवान श्रीराम मंदिर को लेकर देशभर में उत्साह है।

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  • Satna News :सिद्धा पहाड़ में प्रभु श्रीराम की प्रतिमा और विकास कार्यों का लोकार्पण

    सतना,मध्यप्रदेश।। अयोध्या में भगवान श्रीरामलला की प्राण प्रतिष्ठा के उपलक्ष्य में सोमवार को सतना जिले के चित्रकूट क्षेत्र के प्रसिद्ध स्थल सिद्धा पहाड़ में निश्चर विहीन धरती करने का प्रण लेते हुये प्रभु श्रीराम की विशाल नवनिर्मित प्रतिमा और सिद्धा पहाड़ को धार्मिक स्थल के रुप में विकसित करने के लिये किये गये विकास कार्यों का लोकार्पण किया गया। इस मौके पर सिद्धा धाम में सुंदरकांड का पाठ किया गया तथा हवन-पूजन उपरांत पहाड़ की सीढ़ियों तथा प्रवेश द्वार पर दीप मालिकाओं में दीप प्रज्वलित किये गये।

    सतना टाइम्स डॉट इन

    सांसद गणेश सिंह ने भगवान श्रीराम की प्रतिमा का अनावरण कार्यक्रम में कहा कि चित्रकूट क्षेत्र में जहां प्रभु श्रीराम साढ़े ग्यारह वर्ष तक वनवास में रहे हैं। वहां इस क्षेत्र में अनेक ऐसे भगवान राम से जुड़े अनेक तीर्थस्थल हैं, जिनका उल्लेख शास्त्रों में भी मिलता है। राम वन पथ गमन न्यास की चित्रकूट में हुई बैठक में मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने भगवान राम के वन गमन के सभी मार्गों को तीर्थ स्थल के रुप में विकसित करने का निर्णय लिया है। सांसद श्री सिंह ने कहा कि मध्यप्रदेश राज्य के भीतर रामवन पथ गमन के तीर्थ स्थलों में सतना जिले के स्थल सबसे ज्यादा हैं। उन्होने कहा कि सिद्धा पहाड़ के प्रति लोगों की आस्था और श्रद्धा को देखते हुये इसका नामकरण सिद्धा धाम के रुप में किया जा रहा है।

    चित्रकूट क्षेत्र में सिद्धा धाम का विकास एक पवित्र तीर्थ स्थली के रुप में किया जायेगा। उन्होने कहा कि प्रभु श्रीराम आज अपनी अयोध्या में विराजे हैं। यह अद्भुत पल नये युग का सूत्रपात कर रहा है। इसके पूर्व अनुविभागीय अधिकारी फॉरेस्ट मझगवां ने बताया कि सांसद श्री सिंह के प्रयासों से 5 जून 2023 को सिद्धा पहाड़ के संरक्षण के लिये 50 लाख रुपये की राशि स्वीकृत हुई थी।

    फ़ोटो सतना टाइम्स इन

    कार्यकारी एजेंसी वन विभाग ने इस पहाड़ को 10 हेक्टेयर क्षेत्र में फेन्सिंग, एक किलोमीटर परिक्रमा पथ का निर्माण और पहाड़ की चोटी पर जाने के लिये रेलिंग सहित 180 सीढ़िया भी बनवाई है। इन सीढियों पर रामचरित मानस का वृतांत, चौपाइयां, दोहे भी अंकित कराये गये हैं। उन्होने बताया कि जनसहयोग एवं अन्य मदों से पहाड़ की चोटी पर प्रभु श्रीराम की ‘‘निसिचर हीन करउँ महि भुज उठाइ पन कीन्ह’’ को प्रदर्शित करते हुये आकर्षक प्रतिमा भी स्थापित की गई है। सांसद श्री सिंह और विधायक चित्रकूट सुरेंद्र सिंह गहरवार ने सिद्धा धाम की चोटी पर पहुंचकर प्रभु श्रीराम की प्रतिमा के सम्मुख हवन-पूजन और दीप प्रज्वलन कर प्रतिमा का लोकार्पण किया। सिद्धा पहाड़ पर पौधारोपण भी किया गया।

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    इस मौके पर ग्रामीणजनों द्वारा पूरे सिद्धा पहाड़ पर आतिशबाजी की गई। इस अवसर पर कलेक्टर अनुराग वर्मा, सीईओ जिला पंचायत डॉ परीक्षित झाड़े, डीएफओ विपिन पटेल, एसडीएम जितेंद्र वर्मा सहित स्थानीय जनप्रतिनिधि, आसपास की ग्राम पंचायतों के सरपंच, पंच एवं बड़ी संख्या में आमजन उपस्थित रहे।

  • Ramlala Pran Pratishtha :व्यंकटेश लोक में देखा गया अयोध्या में प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम का सीधा प्रसारण

    सतना,मध्यप्रदेश।। प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि अयोध्या में भगवान रामलला की प्राण-प्रतिष्ठा वसुधैव कुटुंबकम् की स्थापना भी है। यह साक्षात मानवीय मूल्यों, सर्वोच्च आदर्शों की प्राण-प्रतिष्ठा है। जिसकी आवश्यकता संपूर्ण विश्व को है। अयोध्या में भगवान श्रीराम मंदिर में रामलला की प्राण-प्रतिष्ठा कार्यक्रम के पश्चात प्रधानमंत्री श्री मोदी ने आम जनमानस को संबोधित किया। अयोध्या में भगवान रामलला की प्राण-प्रतिष्ठा कार्यक्रम का सीधा प्रसारण सतना नगर निगम के व्यंकटेश लोक के नवनिर्मित ओपेन ऑडीटोरियम में भक्ति और उल्लासपूर्ण वातावरण में देखा गया।

    फ़ोटो सतना टाइम्स डॉट इन

    कार्यक्रम में प्रदेश की नगरीय विकास एवं आवास राज्यमंत्री प्रतिमा बागरी, सांसद गणेश सिंह, महापौर योगेश ताम्रकार, विधायक सुरेंद्र सिंह गहरवार, स्पीकर नगर निगम राजेश चतुर्वेदी, कलेक्टर अनुराग वर्मा, पुलिस अधीक्षक आशुतोष गुप्ता, सीईओ जिला पंचायत डॉ. परीक्षित झाड़े, आयुक्त नगर निगम अभिषेक गहलोत सहित विभिन्न संप्रदाय के प्रतिनिधि, स्थानीय जनप्रतिनिधि एवं बड़ी संख्या में श्रद्धालु आमजन उपस्थित थे।प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि अयोध्या में श्री राम का मंदिर केवल मंदिर नहीं यह भारत के दिग्दर्शन, देश की चेतना का मंदिर है। प्रभु श्री राम भारत की चेतना, चिंतन, प्रवाह, प्रताप आदर्श के प्रतीक है। राम नेति भी हैं और नीति भी है।

    राम व्यापक हैं, राम विश्व है, विश्वात्मा है। राम की प्रतिष्ठा का प्रभाव हजारों हजार वर्षों के लिए होता है। अयोध्या में श्रीराम हजारों वर्षों के लिए प्रतिष्ठित हुए हैं। राम राज्य की स्थापना विश्व का पथ प्रदर्शन करेगी। प्रधानमंत्री श्री मोदी ने कहा कि कालचक्र बदल रहा है। यह सुखद क्षण है। जब हमारी पीढ़ी को कालजयी शिल्प को बनाने के साक्षी बन रहे हैं। उन्होंने कहा कि इस पवित्र समय से अगले एक हजार वर्ष बाद के भारत की नींव रखी जा रही है। समय की मांग है कि दिव्य और विलक्षण भारत के निर्माण में चेतना और अंतर्मन का विस्तार करना होगा। उन्होंने कहा कि देव से देश और राम से राष्ट्रीय चेतना का विस्तार करना होगा। तभी सक्षम और दिव्य भारत का निर्माण होगा। प्रधानमंत्री ने कहा कि जो अपने आपको कम आंकते हैं। उन्हें गिलहरी के योगदान का स्मरण करना होगा। भारत के विकास के अमृत काल में सभी देशवासी यह संकल्प लें कि राष्ट्र निर्माण और विकसित भारत के लिए अपने जीवन का पल-पल देश के लिए समर्पित करेंगे।

    नगरीय प्रशासन एवं आवास राज्यमंत्री प्रतिमा बागरी ने कहा कि आज का दिन सम्पूर्ण भारत ही नहीं पूरे विश्व के लिए शांति, समन्वय और राम राज्य का पैगाम है। देशवासियों का सदियों-सदियों से चली आ रही प्रतीक्षा रामलला के मंदिर में श्रीराम की प्राण-प्रतिष्ठा से पूरी हुई है। उन्होंने सम्पूर्ण प्रदेशवासियों को बधाई और शुभकामनायें देते हुए राम राज्य की स्थापना में अपना भरपूर योगदान की अपील की।सांसद गणेश सिंह ने कहा कि देश के आराध्य, गौरव, संस्कृति और सनातन धर्म की प्राण-प्रतिष्ठा से करोड़ों-करोड़ देशवासियों की अभिलाषा प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की उपस्थिति में रामलला का मंदिर अयोध्या में बनाने की पूर्ण हुई है। उन्होंने कहा कि वह दिन दूर नहीं जब भारत एक पूर्ण विकसित देश बनने के साथ ही विश्व गुरू होने का दर्जा पुनः प्राप्त करेगा।

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    कार्यक्रम में महापौर योगेश ताम्रकार ने कहा कि अयोध्या में रामलला की प्राण-प्रतिष्ठा का यह दिन आने वाले करोड़ों वर्ष तक याद किया जायेगा। पूरे शहर और देश में आज के दिन का उल्लास और आनंद शब्दों में व्यक्त नहीं किया जा सकता। इसके पूर्व राज्यमंत्री प्रतिमा बागरी ने स्मार्ट सिटी द्वारा विकसित व्यंकटेश लोक के नव निर्मित ओपेन आडीटोरियम का शिलापट्टिका अनावरण कर लोकापर्ण किया। व्यंकटेश लोक में अपरान्ह सुन्दर काण्ड का सामूहिक भजन गायन एवं शाम को दीप मालिकाओं में दीप प्रज्जवलित करने का कार्य भी सम्पन्न हुआ।

  • Ayodhya Ram Mandir :सामने आई रामलला की पहली तस्वीर, कंगना रनौत ने दिया बड़ा बयान

    Ayodhya Ram Mandir :22 जनवरी को अयोध्या में राम मंदिर का उद्घाटन और राम लला प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम होने वाला है। इसी बीच अब तक गोपनीय तरीके से बन रही भगवान राम लला की मूर्ति का अनावरण भी कर दिया गया है.मूर्ति की तस्वीरें सामने आते ही सोशल मीडिया पर वायरल हो गई हैं। देश- दुनिया भर के लोग रामलला के मूर्ती की तारीफ कर रहे हैं। लोग सोशल मीडिया पर अपनी प्रतीक्रियाएं साझा कर रहे हैं। अब ऐसे में बॉलीवुड की एक्ट्रेस कंगना रनौत ने भी प्रतिक्रिया दी है। कंगना ने अपने इंस्टाग्राम पर स्टोरी लगाकर राम लला के मूर्ती की तारीफ की है।

    सतना टाइम्स डॉट इन

    बता दें कि, बॉलीवुड एक्ट्रेस कंगना रनौत भी 22 जनवरी को अयोध्या में प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम में शामिल होंगी । एक्ट्रेस को सरकार की तरफ से कार्यक्रम में शामिल होने के लिए न्योता मिला है। एक्ट्रेस ने सोशल मीडिया पर निमंत्रण पत्र का वीडियो शेयर किया था।

    मूर्तीकार की तारीफ में कहे ये शब्द
    कंगना रनौत ने इंस्टाग्राम स्टोरी पर भगवान राम की प्रतिमा की झलक दिखाते हुए लिखा, ‘मैंने हमेशा सोचा था कि भगवान राम एक नौजवान लड़के की तरह लगते होंगे और मेरी कल्पना इस मूर्ति के जरिये बयां हुई है। अरुण योगीराज आप धन्य हैं.’कंगना ने दूसरी फोटो शेयर करते हुए इसके कैप्शन में लिखा, ‘कैसी सुंदर और मन को मोह लेने वाली यह प्रतिमा है। अरुण योगीराज जी पर कितना दबाव होगा। स्वयं परमेश्वर को पत्थर में थाम लेना राम की ही कृपा है। अरुण योगीराज जी श्रीराम ने आपको स्वयं दर्शन दिए हैं, आप धन्य हैं।’

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    कौन हैं अरूण योगीराज शिल्पी
    मूर्तिकार अरुण योगीराज शिल्पी मैसूर के रहने वाले हैं। उन्होंने 2008 में नौकरी छोड़ मूर्ति बनाने के काम में जुट गए थे अरुण खुद 1 हजार से ज्यादा मूर्ति बना चुके हैं। इन्हें मूर्ती बनाने में महारथ हासिल है. इनके काम को लेकर प्रधानमंत्री ने भी तारीफ की है. इन्होने केदारनाथ में आदिशंकराचार्य की मूर्ति बनाई थी। अरूण ने मूर्ती को 5 साल के रामलला के बालरूप को दर्शाया है। इस मूर्ति की लंबाई 51 इंच की है। इसे बनाने में 6 महीने लगे हैं.

  • राम मंदिर के निमंत्रण पर दिग्विजय सिंह ने कहा BJP का मकसद मस्जिद गिराना था, राम मंदिर बनाना नहीं… हमें किसी आमंत्रण की जरूरत नहीं

    पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस के सांसद दिग्विजय सिंह ने राम मंदिर पर बड़ा बयान दिया है. कहा कि भाजपा का उद्देश्य मदिर बनाना नहीं, बल्कि मस्जिद तोड़ना था. रीवा के सर्किट हाउस में आयोजित प्रेसवार्ता के दौरान दिग्विजय सिंह ने कहा कि 1857 की लड़ाई में अंग्रेजी हुकूमत के खिलाफ हिंदू मुस्लिम साथ खड़े हुए थे. अयोध्या में 1850 से निर्मोही अखाड़ा काबिज था. सब कुछ ठीक चल रहा था. जब भाजपा चुनाव हार रही थी तो मंदिर मस्जिद करना शुरू कर दिया. इनका उद्देश्य मस्जिद तोड़ना था, मंदिर बनाना नहीं.

    फ़ोटो सतना टाइम्स डॉट इन

    दिग्विजय सिंह ने कहा, पोस्टर में जब नारा दिया गया था- ‘राम लला आएंगे मंदिर वहीं बनाएंगे’ तो अब न्यायालय के आदेश पर उस भूमि पर मंदिर क्यों नहीं बनाया जा रहा? केवल विवादित भूमि में निर्माण के लिए न्यायालय के फ़ैसले तक इंतज़ार करने के लिए कहा गया था. ग़ैर विवादित भूमि पर भी भूमिपूजन राजीव जी के समय हो गया था, नरसिम्हा राव जीने नाम मंदिर निर्माण के लिए ग़ैर विवादित भूमि का अधिग्रहण भी कर दिया था.

    कांग्रेस सांसद ने कहा, ‘‘कांग्रेस कभी भी अयोध्या में  राम मंदिर निर्माण का विरोध नहीं किया. भाजपा और विश्व हिंदू परिषद का मकसद मंदिर निर्माण नहीं, मस्जिद गिराना था. क्योंकि जब तक मस्जिद नहीं गिरेगी तब तक मुद्दा हिंदू मुसलमान का नहीं बनता. अशांति फैला कर राजनीतिक लाभ लेना उनकी रणनीति है. इसीलिए उनका नारा था- ‘राम लला हम आयेंगे मंदिर वहीं बनायेंगे’. अब वहां क्यों नहीं बनाया?  जब उच्चतम न्यायालय ने विवादित भूमि न्यास को दे दी थी.  

    निर्मोही अखाड़े के लोग जिन्होंने 165 वर्षों तक राम जन्म भूमि की लड़ाई लड़ी, जिन्होंने अदालत में लड़ाई लड़ी. मंदिर निर्माण का रास्ता खुल गया. सारी लड़ाई स्वामी स्वरूपानंद जी ने लड़ी थी. उन्हें रामालय ट्रस्ट का अध्यक्ष बनाया गया. लेकिन अब मंदिर निर्माण से दूर कर दिया गया. मोदी ने मंदिर निर्माण में राजनैतिक लोगों को शामिल कर दिया है. चंपत राय क्या है? मोहन भागवत क्यों प्राण प्रतिष्ठा में शामिल है? निर्माणाधीन मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा नहीं होती. पहले मोदी जी खुद यजमान बना गए थे लेकिन जब पत्नी की बात आई तो पीछे हटना पड़ा. 

    निर्मोही अखाड़े के पूजा का अधिकार भी छीन कर वीएचपी के चंपत राय के चयनित स्वयंसेवकों को दे दिया है. ये अधर्मी हैं और धर्म विरोधी हैं. हमें सनातन विरोधी कहते हैं. मैंने नर्मदा परिक्रमा पैदल की है. मंदिर निर्माण का कार्य पूरा होने पर हम जायेंगे. हमें किसी आमंत्रण की जरूरत नहीं है.” 

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  • Satna News :जिले के सभी मंदिरों में 22 जनवरी तक आयोजित होगा राम कीर्तन

    सतना,मध्यप्रदेश।। अयोध्या में आगामी 22 जनवरी को प्रस्तावित भगवान श्रीराम की प्रतिमा की प्राण प्रतिष्ठा को दृष्टिगत रखते हुए प्रदेश के सभी जिलों में विभिन्न कार्यक्रम आयोजित करने के निर्देश शासन स्तर से जारी किये गये हैं। जिसके तारतम्य में कलेक्टर अनुराग वर्मा ने जिले में 22 जनवरी तक विभिन्न सामाजिक एवं सांस्कृतिक कार्यक्रमों को गरिमापूर्वक मनाने के आवश्यक निर्देश नगरीय एवं जनपद स्तरीय निकायों के प्रमुखों को दिये हैं।

    फ़ोटो : सतना टाइम्स डॉट इन

    भगवान श्रीराम की प्रतिमा की प्राण प्रतिष्ठा को दृष्टिगत रखते हुए जिले के प्रत्येक मंदिर में 16 जनवरी से 22 जनवरी तक जन-सहयोग से राम कीर्तन का आयोजन कराया जायेगा। समस्त मंदिरों, पवित्र नदियों, जलाशयों में दीप प्रज्जवलित किये जायेंगे। हर घर में दीपोत्सव के लिये आमजन को जागृत किया जायेगा। नगरों तथा गाँव में मौजूद राम मंडलियों को मोहल्लों तथा गाँव में स्थानीय कार्यक्रम के लिये प्रेरित किया जायेगा। जिले के प्रमुख मंदिरों में ट्रस्ट समितियों द्वारा धर्मगुरुओं के साथ समन्वय कर 22 जनवरी को भंडारों का आयोजन किया जायेगा। इसी प्रकार सभी शासकीय कार्यालयों में 16 से 21 जनवरी तक विशेष सफाई अभियान चलाया जायेगा। समस्त शासकीय कार्यालयों में 21 से 26 जनवरी तक रोशनी की जायेगी।

    कलेक्टर अनुराग वर्मा ने निर्देश दिये हैं कि जिले की सभी ग्राम पंचायतों में श्रीराम कथा सप्ताह मनाया जाये। जिसके अंतर्गत गायन, कथावाचन, रामरक्षा स्त्रोत, रामचरित मानस पाठ पर प्रतियोगिता आयोजित की जाये। प्रतियोगिता के विजेताओं को मुख्यमंत्री जी की ओर से प्रमाण-पत्र दिये जायेंगे। पुरस्कार वितरण 26 जनवरी को जिला मुख्यालय पर होगा।

    Image credit by social Media

    कलेक्टर अनुराग वर्मा ने शासन स्तर से अयोध्या में 22 जनवरी को आयोजित होने भगवान श्रीराम के प्राण-प्रतिष्ठा कार्यक्रम की गतिविधियों के संबंध में दिए गए निर्देशों के तारतम्य में जिले के सभी अनुवभिगीय अधिकारी राजस्व को संबंधित अनुभाग के मंदिरों के पुजारी, महात्माओं, साधु-संतों एवं जनप्रतिनिधियों के साथ बैठक कर निर्देशों के अनुरूप कार्य करवाने के निर्देश दिये हैं। उन्हाने कहा है कि मीटिंग में अनुभाग लेबल के सभी अधिकारी-कर्मचारी विशेष रूप से जन अभियान परिषद को भी शामिल करेंगे। शासन के निर्देशों के अनुक्रम में आपके द्वारा की जाने वाली तैयारी की रूपरेखा की जानकारी से जिले को भी अवगत कराना होगा।

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  • सतना और मैहर जिले में आयोजित होगा श्री लीला समारोह, कलाकारों द्वारा श्रीराम कथा के चरितों पर दी जायेंगी प्रस्तुतियां

    सतना,मध्यप्रदेश।। प्रदेश में श्रीराम कथा के विशिष्ट चरितों पर आधारित दस दिवसीय श्री लीला समारोह का आयोजन प्रदेश के 28 पवित्र स्थलों पर किया जा रहा है। सतना और मैहर जिले में श्रीहनुमान लीला की प्रस्तुति लकी चतुर्वेदी (शहडोल) द्वारा, भक्तिमति शबरी की प्रस्तुति सविता दाहिया (उमरिया) द्वारा एवं निषादराज गुह्य लीला की नाट्य प्रस्तुति दुर्गेश सोनी (बरही) द्वारा दी जायेगी।

    फ़ोटो – सतना टाइम्स डॉट इन

    धार्मिक न्यास एवं धर्मस्व विभाग द्वारा श्रीलीला समारोह आयोजन करने के संबंध में जारी कार्यक्रमानुसार 16 जनवरी को चित्रकूट में शबरी लीला, 17 जनवरी को निषादराज लीला, 18 जनवरी को श्रीहनुमान लीला पर प्रस्तुतियां दी जायेगी। इसी प्रकार नागौद में 19 जनवरी को निषादराज लीला, 20 जनवरी को श्रीहनुमान लीला, 21 जनवरी को शबरी लीला, रामवन (सतना) में 18 जनवरी को श्रीहनुमान लीला, 19 जनवरी को शबरी लीला, 20 जनवरी को निषादराज लीला के आयोजन होंगे। श्रीलीला समारोह की प्रस्तुतियों में मैहर में 19 जनवरी को श्रीहनुमान लीला, 20 जनवरी को शबरी लीला एवं 21 जनवरी को निषादराज लीला का प्रदर्शन किया जायेगा।

    गौरतलब है कि मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की मंशा अनुसार संस्कृति विभाग और जिला प्रशासन के सहयोग से प्रदेश के 28 पवित्र आस्था स्थलों में 11 जनवरी से श्रीलीला समारोह आयोजित किया जा रहा है। जो 21 जनवरी तक चलेगा। इनमें ग्वालियर, दतिया, ओरछा (निवाड़ी), चित्रकूट, रामवन, नागौद (सतना), मैहर, मऊगंज, देवतालाव (रीवा), सलेहा (पन्ना), सलकनपुर (सीहोर), सीहोर, जामसांवली (छिंदवाड़ा), अमरकंटक (अनूपपुर), जबलपुर, खजुराहो (छतरपुर), देवास, इंदौर, उज्जैन, रतलाम, मन्दसौर, नलखेड़ा (आगर), कुण्डेश्वर (टीकमगढ़), ओंकारेश्वर (खण्डवा), दमोह, सिंग्रामपुर, नोहटा, तेंदूखेड़ा (दमोह) शामिल हैं।

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  • Ayodhya Ram Mandir: अयोध्या में प्राण प्रतिष्ठा को लेकर क्यों शुरू हुआ विवाद!

    Ayodhya Ram Mandir :धार्मिक ग्रंथों के अनुसार जब तक किसी मंदिर का निर्माण पूरी तरह से ना हो जाए तब तक प्राण प्रतिष्ठा को वर्जित माना गया है। इसे अशुभ माना जाता है। और, देवता नाराज होते हैं। अयोध्या में प्रभु श्री राम मंदिर का निर्माण कार्य अभी पूरा ही नहीं हुआ है और आगामी 22 जनवरी को अयोध्या में प्रभु श्रीराम का प्राण प्रतिष्ठा समारोह होने जा रहा है। इस समारोह को लेकर संत समाज और राजनीतिक पार्टियों में काफी मतभेद देखा जा रहा है और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी विवादों में घिर चुके हैं। संत समाज के विरोध से पहले विश्व प्रसिद्ध ज्योतिषी अटलांटा कश्यप ने संकेत दे दिया था कि आने वाले समय में अयोध्या में प्रभु श्रीराम की प्राण प्रतिष्ठा की वजह से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का बुरा समय शुरू हो सकता है।

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    विश्व प्रसिद्ध ज्योतिषी अटलांटा कश्यप संभावित घटनाओं का आभास पहले ही स्वप्न में हो जाता है। वह अपने स्वप्न में जो भी देखती है, अपने सोशल मीडिया पर शेयर करती है और बाद में वह घटना सत्य साबित होता है। 1 जनवरी 2024 की रात को अटलांटा कश्यप ने अयोध्या में प्रभु श्रीराम की प्राण प्रतिष्ठा के बारे एक स्वप्न देखा। अटलांटा कश्यप के अनुसार, उनके अधूरे श्री राम मंदिर के बारे में कोई जानकारी नहीं थी। उनके स्वप्न के अनुसार एक सुन्दर मां बहुत रो रही थी। मां का अर्थ धरती माता भी है। त्रेतायुग में श्रीराम का कारक कौन था? उस युग में श्रीराम के लिए धरती माता ने घोड़े का अवतार लिया था। अविश्वसनीय बात यह है कि, इस सपने से पहले श्री राम लला मंदिर प्राण प्रतिष्ठा के खिलाफ कोई नहीं था। लेकिन इस स्वप्न के तीन दिन के बाद संत समाज और चारो शंकराचार्य ने विरोध करना शुरू कर दिया।

    गोवर्धन मठ के शंकराचार्य निश्चलानंद स्वामी ने हाल ही में एक चैनल को दिए इंटरव्यू में कहा, अभी अयोध्या में प्राण प्रतिष्ठा शास्त्रों के हिसाब से नहीं हो रही है, इसलिए मेरा उसमें जाना उचित नहीं है। पुराणों में लिखा है कि देवता की मूर्ति तब प्रतिष्ठित होती है, जब शास्त्रों के हिसाब से विधिवत हो। अगर ये ढंग से ना किया जाए तो देवी देवता क्रोधित हो जाते हैं। यह खिलवाड़ नहीं है।ढंग से किया जाए तभी देवता का तेज सबके लिए अच्छा रहता है, वरना विस्फोटक हो जाता है। पूरी तरह से मंदिर निर्माण के बाद प्राण प्रतिष्ठा का आयोजन होना चाहिए।

    बता दें कि विश्व प्रसिद्ध ज्योतिषी अटलांटा कश्यप के अयोध्या में प्राण प्रतिष्ठा को लेकर आए स्वप्न के तीन दिन के बाद संत समाज और चारो शंकराचार्य की यह प्रतिक्रिया आई है। अटलांटा कश्यप की ज्योतिषीय विश्लेषण के अनुसार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का बुरा समय आने वाले है।अटलांटा कश्यप की माने तो शनि, राहु और केतु का एक दूसरे से लेना देना है। राहु साइलेंट ग्रह है, लेकिन योग ऐसा बन रहा है कि राहु दाहिने हाथ से बाएं हाथ पर खुद ही अटैक कर रहा है। अगर कोई भी नंबर सात पावर के साथ उलझता है तो सात पावर अगले पावर वाले को बहुत भारी नुकसान पहुंचा सकता है। जिसमे स्वास्थ्य संबंधी समस्या, दिमागी दिमागी परेशानी और दर्द का संयोग बनेगा। इसलिए मोदी जी के लिए बुरा वक्त आने वाला है। हालात ने उन्हें सात नंबर के साथ उलझा दिया है। इसलिए उनका बुरा समय शुरू हो सकता है।

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    विश्व प्रसिद्ध ज्योतिषी अटलांटा कश्यप की अब तक कोई भी भविष्य भविष्यवाणी विफल नहीं हुई है। वह एलियंस के बीच टेलीपैथी बातचीत भी कर रही है। उन्होंने कई साल पहले भविष्यवाणी की थी कि भविष्य में भारत पूरी दुनिया में नंबर 1 होगा।बहरहाल, प्रभु श्रीराम की प्राण प्रतिष्ठा समारोह में चारों शंकराचार्य शामिल नहीं हो रहे हैं। धर्म शास्त्रों के अनुसार विधि पूर्वक प्राण प्रतिष्ठा न हो उस प्रतिमा में देव विग्रह की बजाय भूत, प्रेत, पिशाच, बेताल आदि हावी हो जाते हैं. उसकी पूजा का भी अशुभ फल होता है।

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  • राष्ट्र धर्म’ के विशेष संस्करण में आडवाणी का लेख: ‘मंदिर का निर्माण, एक दिव्य स्वप्न की पूर्ति, नियति ने पीएम मोदी को चुना’

    नई दिल्ली: राष्ट्रीय धार्मिक पत्रिका “राष्ट्र धर्म” के विशेष संस्करण में, भाजपा के वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी ने अपने लेख में भगवान राम के भव्य मंदिर की निर्माण के संदर्भ में अपने विचार व्यक्त किए हैं।

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    आडवाणी ने लिखा, “मेरा यह मानना है कि राम मंदिर के निर्माण का सपना एक दिव्य स्वप्न की पूर्ति होगी।” उन्होंने बताया कि इस सपने को पूरा करने के लिए उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को चुना, जो इस कार्य में नेतृत्व कर रहे हैं।

    आडवाणी ने अटल बिहारी वाजपेयी को भी याद किया और उनकी अनुपस्थिति को महसूस किया। उन्होंने लिखा, “अटलजी की अनुपस्थिति का अहसास हो रहा है।” लालकृष्ण आडवाणी ने अपने लेख में 1990 में शुरू हुई रथ यात्रा की याद की है और बताया कि यह यात्रा देश में एक आंदोलन का संगीत बजा देगी।

    उन्होंने लिखा, “आज से 33 साल पहले हमने रथ यात्रा की शुरुआत की थी, जिसका हमें वही आभास नहीं था कि यह यात्रा हमें एक बड़े आंदोलन की ओर मोड़ देगी।” आडवाणी ने आगे बताया कि राम मंदिर के निर्माण का सपना उनके लिए एक दिव्य स्वप्न है और इसे पूरा करने के लिए वे सभी संघर्ष कर रहे हैं।

    लेख में आडवाणी ने राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, एचडीएफ से जुड़े सभी लोगों को भगवान राम के मंदिर के निर्माण में समर्थन दिखाने के लिए धन्यवाद दिया है।

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